Swiggy Layoff: स्विगी में होगी 250 से अधिक कर्मचारियों की छंटनी..
फूड डिलीवरी स्टार्टअप स्विगी कथित तौर पर इस महीने ऑपरेशंस, टेक्नोलॉजी, कस्टमर सर्विस और सप्लाई चेन में 250 से ज्यादा कर्मचारियों की छंटनी कर रहा है। यह फैसला इसके लगभग तीन से पांच प्रतिशत कार्यबल को प्रभावित कर सकता है। स्विगी की छंटनी उसके मुख्य प्रतिद्वंद्वी जोमैटो की ओर से खराब प्रदर्शन के कारण अपने तीन प्रतिशत कर्मचारियों को नौकरी से निकालने के कुछ ही महीनों बाद आई है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार छंटनी के फैसले से आपूर्ति श्रृंखला, संचालन, ग्राहक सेवा और तकनीकी भूमिकाओं में तैनात कर्मियों के प्रभावित होने की आशंका है। मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि कंपनी अपने कार्यों में एक बहुत छोटी टीम की संरचना चाहती है। इस महीने के अंत में कर्मचारियों के लिए संवेदीकरण कार्यशालाओं की योजना बनाई गई है। उन्होंने पुनर्गठन पर सलाह देने के लिए एक परामर्श फर्म नियुक्त की है। बताया गया है कि अधिकांश छंटनी टेक, इंजीनियरिंग, उत्पाद भूमिकाओं और संचालन से विभागों में हो सकती है
हाल ही के एक टाउन हॉल के दौरान स्विगी के मानव संसाधन प्रमुख गिरीश मेनन ने कर्मचारियों को प्रदर्शन आधारित इस छंटनी के बारे में सूचित किया। एक कंसल्टिंग फर्म की मदद से कंपनी ने अपनी टीमों का पुनर्गठन शुरू कर दिया है। स्विगी ने कई अधिकारियों को उपाध्यक्ष के पद पर पदोन्नत करने की भी घोषणा की गई है।रिपोर्ट के मुताबिक, ऑपरेशन हेड मिहिर शाह को प्रमोशन देकर सीनियर वाइस प्रेसिडेंट ऑफ ऑपरेशन बनाया गया है। स्विगी की ओर से मीडिया को बताया गया, 'हमने अपना परफॉर्मेंस साइकल अक्टूबर में खत्म किया और सभी स्तरों पर रेटिंग और प्रमोशन की घोषणा की है।
इसके अलावा स्विगी के इंस्टेंट ग्रॉसरी डिलीवरी प्लेटफॉर्म व इंस्टामार्ट कर्मचारियों पर कैश बर्न कम करने के लिए कंपनी के अन्य हिस्सों में स्थानांतरित किया जा रहा है। इंस्टामार्ट की विस्तार योजनाओं पर कंपनी तटस्थ बनी हुई है। कंपनी कथित तौर पर इंस्टामार्ट की विस्तार योजनाओं पर सतर्क है।बता दें कि महत्वपूर्ण छूट की पेशकश के बावजूद, वैश्विक ब्रोकरेज फर्म जेफरीज ने पिछले महीने रिपोर्ट दी थी कि स्विगी तेजी से अपने प्रतिस्पर्धी जोमैटो के मुकाबले बाजार हिस्सेदारी खो रही है। इससे पहले, स्विगी ने अपने क्लाउड किचन ब्रांड द बाउल कंपनी को दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में उच्च घाटे के कारण नवंबर में बंद करने का फैसला किया था।