रोक हटने के बाद भी नहीं हो रहे तबादले
भोपाल । मंत्रियों और विधायकों की डिमांड के बाद सरकार ने 15 जून से तबादलों पर से रोक तो हटा दी है, लेकिन अभी तक तबादले की सूची जारी नहीं हो रही हैं। ऐसे में अनुमान लगाया जा रहा है कि महिने के आखिरी दिनों में तबादलों की थोकबंद सूची जारी होगी। माना जा रहा है कि इस बार 45 हजार से ज्यादा ट्रांसफर होंगे। जानकारी के अनुसार विधायकों ने प्रस्ताव देने प्रारंभ कर दिए हैं। उधर संभावना है कि पीएम मोदी के मप्र दौरे के बाद तबादलों की अंतिम तिथि बढ़ाने की मांग मंत्रियों द्वारा की जा सकती है।
गौरतलब है कि प्रदेश में मंत्री और विधायक कब से तबादले पर से रोक हटाने की मांग कर रहे थे। उनकी मांग पर सरकार ने 15 से 30 जून तक तबादलों पर से रोक तो हटा दी है, लेकिन अभी तक किसी भी जिले में आदेश जारी नहीं हुए हैं। इसके पीछे बड़ा कारण माना जा रहा है कि मंत्रियों ने एक जिले से दूसरे जिले में ट्रांसफर किए जाने की डिमांड मुख्यमंत्री से की थी लेकिन यह मांग पूरी नहीं होने से उनकी दिलचस्पी कम हो गई है। संभावना है कि पीएम मोदी के मप्र दौरे के बाद तबादलों की अंतिम तिथि बढ़ाने की मांग मंत्रियों द्वारा की जा सकती है।
जानकारी के अनुसार विधायकों ने प्रस्ताव देने प्रारंभ कर दिए हैं। माना जा रहा है कि 27 जून को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का दौरा खत्म होने के बाद जिलों में तबादलों की थोकबंद सूचियां जारी होंगी। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री ने राज्य की वित्तीय स्थिति को देखते हुए सिर्फ जिले के अंदर ही ट्रांसफर किए जाने की सहमति दी है। जीएडी ने नई तबादला नीति जारी करते हुए 15 से 30 जून तक रोक हटाने के निर्देश जारी किए हैं। तबादलों को लेकर एक भी जिले में लिस्ट बनने की शुरुआत नहीं हुई है। कहीं-कहीं विधायकों ने पटवारी, आरक्षक, राजस्व निरीक्षक, शिक्षक, लिपिक, नर्सों और निकाय कर्मचारियों को हटाने और पदस्थ करने संबंधी आवेदन मंत्रियों के पास भेजे हैं। ऐसे में संभावना है कि पीएम मोदी के मप्र दौरे के बाद तबादलों की अंतिम तिथि बढ़ाने की मांग मंत्रियों द्वारा की जा सकती है। दरअसल, मुख्यमंत्री की मंशा है कि जिलों में लंबी लिस्ट जारी नहीं की जाए। इसलिए कि प्रशासनिक आधार पर तबादले होने पर शासन के खजाने पर अतिरिक्त वित्तीय भार आएगा। पूर्व मंत्री रामपाल सिंह कहते हैं कि जिले के अंदर ही तो होना है। एक घंटे में लिस्ट जारी हो जाएगी। मैने ऐसे कर्मचारियों के नाम भेजे हैं जिनका तबादला आवश्यक है। उन्हीं के तबादले करने को प्राथमिकता दी है जो पारिवारिक कारणों से जरूरी है। मुरैना और श्योपुर के प्रभारी मंत्री भरत सिंह कुशवाह ने कहा कि अभी और सात दिन हैं। जिले के अंदर उन्हीं कर्मचारियों के तबादले करेंगे, जिनका आवश्यक होगा। उनके पास आवेदन आने लगे हैं परंतु किसी को अनावश्यक परेशान नहीं किया जाएगा। सीएम से डेट आगे बढाने की मांग मेरे द्वारा नहीं की जाएगी। वे कहते हैं कि इसे पहले भी उन्होंने तबादलों पर से रोक हटाने की मांग नहीं की थी।
चुनाव आयोग के निर्देशानुसार, प्रदेश में उन मैदानी अफसरों के तबादले भी करने हैं जो पिछले 3 साल से एक ही स्थान पर पदस्थ है। जानकारी के अनुसार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मध्य प्रदेश दौरे के बाद सरकार कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों के तबादले करेगी। इसमें उन अधिकारियों को प्राथमिकता में रखा जाएगा, जिनके एक स्थान पर तीन वर्ष पूरे हो चुके हैं। इसमें दतिया, पन्ना और टीकमगढ़ के कलेक्टर शामिल हैं। इसी तरह गृह विभाग भी अधिकारियों को हटाएगा। यद्यपि, पुलिस अधीक्षक केवल एक ही ऐसे हैं, जिन्हें तीन वर्ष पूरे हो चुके हैं। सामान्य प्रशासन और गृह विभाग ने तबादला करने की तैयारी कर ली है। मुख्यमंत्री की अनुमति पर आदेश जारी कर दिए जाएंगे। चुनाव आयोग ने विधानसभा चुनाव को देखते हुए 31 जनवरी 2024 को एक स्थान पर पदस्थ रहते तीन वर्ष पूर्ण करने वाले अधिकारियों का तबादला करने के निर्देश दिए हैं। सामान्य प्रशासन गृह सहित अन्य विभागों को 31 जुलाई तक यह प्रक्रिया पूरी कर चुनाव आयोग को सूचित करना है। सामान्य प्रशासन, राजस्व सहित अन्य विभागों की ओर से मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस और गृह विभाग की ओर से पुलिस महानिदेशक प्रतिवेदन देंगे कि ऐसा कोई भी अधिकारी उस स्थान पर पदस्थ नहीं है, जिसे तीन वर्ष एक स्थान पर पूरे हो गए हैं या फिर गृह जिले में पदस्थ है। सामान्य प्रशासन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि दतिया में संजय कुमार सिंह, टीकमगढ़ सुभाष कुमार द्विवेदी और पन्ना में संजय कुमार मिश्रा वर्ष 2020 से कलेक्टर हैं। आयोग के निर्देशानुसार इनका तबादला होगा। उधर, गृह विभाग के अधिकारियों का कहना है कि बुरहानपुर के पुलिस अधीक्षक राहुल कुमार लोढ़ा जून 2020 से पदस्थ हैं। इन्हें स्थानांतरित किया जाएगा। इसके अलावा अतिरिक्त और उप पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारियों के तबादले होंगे। पुलिस मुख्यालय ने सूची तैयार करके गृह विभाग को दे दी है।